नई दिल्ली। राम जेठमलानी को अनुशासनहीनता के आरोप में बीजेपी से 6 साल के लिए निकाल दिया गया है। जेठमलानी पिछले कुछ समय निलंबित चल रहे थे और लगातार बीजेपी हाईकमान को चुनौती दे रहे थे। तभी से उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की चर्चा चल रही थी और आज उन्हें पार्टी से निकाल दिया गया। जेठमलानी ने कांग्रेस के खिलाफ लडाई के मुद्दे पर अपनी ही पार्टी पर सवाल उठाए। जेठमलानी ने कहा कि बीजेपी कांग्रेस के खिलाफ लड़ाई ठीक से नहीं लड़ रही है। उन्होंने ये भी कहा कि अगर लगता है कि मैं गलत हूं तो मुझे पार्टी से बाहर कर दो। इसे लेकर बीजेपी राम जेठमलानी से बेहद नाराज थी। इसके मद्देनजर उन्हें पार्टी से बर्खास्त भी किए जाने की बात चर्चाओं में थी। चाहे बात नरेंद्र मोदी की पीएम उम्मीदवारी को लेकर उनके समर्थन की हो या, सीबीआई निदेशक रंजीत सिन्हा की नियुक्ति के मसले पर बयान का मामला हो। जेठमलानी ने अपनी ही पार्टी के उलट खुलकर बयान दिए और पार्टी की किरकिरी करवाई। इसके अलावा पूर्ति ग्रुप मामले में पूर्व अध्य़क्ष नितिन गडकरी के खिलाफ भी जेठमलानी ने बगावत की। इसके बाद 25 नवंबर को पार्टी से सस्पेंड कर दिया गया था। (साभार)
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