देहरादून। काफी मशक्कत के बाद मेयर पद को लेकर उठे विवाद को सुलझाने में कांग्रेस कामयाब रही। नाम वापसी के अंतिम दिन पूर्व मेयर मनोरमा शर्मा और पूव संगठन सचिव विशाल डोभाल ने अपना नाम वापस ले लिया। दोनों ने नामांकन को सम्मान की लड़ाई बताया। नगर निगम मेयर पद को लेकर कांग्रेस में ही सबसे ज्यादा घमासान था। पार्टी की तरफ से मेयर पद के लिए घोषित प्रत्याशी सूर्यकांत धस्माना के साथ ही पूर्व मेयर मनोरमा शर्मा और पूर्व संगठन सचिव विशाल डोभाल ने नामांकन करा दिया था। इसके कारण पार्टी नेतृत्व सोच में पड़ गया था। खुद सीएम विजय बहुगुणा और प्रदेश अध्यक्ष यशपाल आर्य को इस मामले में हस्तक्षेप करना पड़ा। मनोरमा शर्मा को मनाने की जिम्मेदारी मंत्री हरक सिंह रावत को दी गई थी। जबकि विशाल डोभाल से खुद सीएम ने बात की और इसके बाद मेयर प्रत्याशी धस्माना ने डोभाल को मनाया। मंत्री हरक सिंह रावत दोपहर करीब 12 बजे पूर्व मेयर मनोरमा को लेकर कचहरी पहुंचे और उनका नामांकन वापस कराया। साथ में प्रवक्ता सुरेंद्र अग्रवाल भी मौजूद थे। जबकि डोभाल ने दोपहर बाद नामांकन वापस लिया। कांग्रेस भवन में हुई पत्रकार वार्ता में मेयर पद के प्रत्याशी सूर्यकांत धस्माना ने इसकी जानकारी दी। पूर्व मेयर मनोरमा शर्मा ने कहा कि 40 साल से पार्टी की सेवा कर रही हूं। हर किसी को उम्मीद होती है, इसलिए नामांकन करने को नाराजगी नहीं समझना चाहिए। नाम वापस लेने के लिए मैंने पार्टी से कोई सौदेबाजी नहीं की है। अब जब एक को टिकट मिल गया है तो सब मिलकर काम करेंगे। उधर, विशाल डोभाल कहते हैं कि लड़ाई सम्मान और अधिकार की थी। मेरी सीएम और प्रदेश अध्यक्ष से बात हुई। इसके बाद अपने लोगों से हुई वार्ता के बाद नाम वापस ले लिया है। वैसे कांग्रेस सबसे ज्यादा अनुशासित पार्टी है, अब पार्टी प्रत्याशी के लिए काम किया जाएगा। (साभार)
- Blogger Comments
- Facebook Comments
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
0 comments:
Post a Comment
आपकी प्रतिक्रियाएँ क्रांति की पहल हैं, इसलिए अपनी प्रतिक्रियाएँ ज़रूर व्यक्त करें।